महाकाल मंदिर में भस्म आरती के दौरान गर्भगृह में कैसे लगी आग, जानकर चौंक जाएंगे
उज्जैन के प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर में सोमवार की सुबह भस्म आरती के दौरान एक अचानक हादसा हो गया। मंदिर के गर्भगृह में हो रही आरती के दौरान किसी ने गर्भगृह में गुलाल फेंक दिया, जिससे आग फूल गई।
इसके परिणामस्वरूप पुजारी समेत कई लोग झुलस गए।
कलेक्टर नीरज सिंह ने इस घटना की पुष्टि की और जांच के लिए एक कमेटी बनाई है। उन्होंने बताया कि जांच के दौरान समझने की कोशिश की जाएगी कि आग कैसे भड़की और कौन सी सामग्री इस्तेमाल हुई।
इस हादसे के समय मंदिर के गर्भगृह में मौजूद पुजारी के सेवक मोनू राठौर ने बताया, “मैं गर्भगृह में था जब आग फूली। किसी ने गुलाल फेंक दिया, जिससे आग लग गई। बहुत अधिक गुलाल उड़ रहा था, जिससे पंप देख नहीं पाया। उसने आग पकड़ ली।”
इस घटना के साथ ही, मंदिर के गर्भगृह में मौजूद थीं हजारों श्रद्धालु। इस हादसे के बाद तत्काल कार्यवाही की गई और सुरक्षा व्यवस्था में संशोधन किया गया।
सुप्रीम कोर्ट में मंदिर समिति द्वारा रखे गए सुझावों के अनुसार, उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर में हर्बल गुलाल का उपयोग किया जाना था, जो कि सीमित मात्रा में होता। इसे क्षरण को रोकने का एक तरीका माना गया था। लेकिन हाल ही में इस नियम का पालन कम हो गया है और मंदिर में बिना जांच के रंग और गुलाल का आना शुरू हो गया है। यह गुलाल अब होली के अवसर पर मंदिर के गर्भगृह में भी प्रयोग किया जा रहा है।
यह उल्लेखनीय है कि साल 2013 में शिवलिंग क्षरण को लेकर उज्जैन की सारिका गुरु ने याचिका दायर की थी। उसके बाद से ही मंदिर समिति ने कई सुझाव दिए थे, जिनमें इस नियम का भी शामिल था। लेकिन समय के साथ, नियमों का पालन कम हो गया है और मंदिर में इस बात का ध्यान नहीं दिया जा रहा है.