प्रशासनिक अधिकारियों पर फाइलों में छेड़छाड़ और विधि विपरीत कार्य करने का आरोप सारणी नगर पालिका में एक ही तकनीकी स्वीकृति पर दो कार्य आदेश जारी करने का मामला
By, वामन पोटे
प्रशासनिक अधिकारियों पर फाइलों में छेड़छाड़ और विधि विपरीत कार्य करने का आरोप
सारणी नगर पालिका में एक ही तकनीकी स्वीकृति पर दो कार्य आदेश जारी करने का मामला
बैतूल। सारणी नगर पालिका में वित्तीय अनियमितता का गंभीर मामला सामने आने के बाद कांग्रेस के जिला महामंत्री मनोज पंडित ने भाजपा के जिला महामंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों पर फाइलों में छेड़छाड़ और विधि विपरीत कार्य करने का आरोप लगाया है। मामले ने तूल पकड़ते हुए नगर पालिका परिषद के अधिकारियों में हड़कंप मचा दिया है।
कांग्रेस के जिला महामंत्री मनोज पंडित ने आरोप लगाया है कि भाजपा के जिला महामंत्री को लाभ पहुंचाने के लिए नगर पालिका के अधिकारियों ने एक ही तकनीकी स्वीकृति पर दो कार्य आदेश जारी करवाए और भुगतान की गई राशि की फाइलों में छेड़छाड़ की गई है। मनोज पंडित का कहना है कि महावीर स्वामी वार्ड क्रमांक 36 में भाजपा के जिला महामंत्री के घर के समीप दो स्थानों पर नालियों का निर्माण किया गया था। इन नालियों को जलावर्धन का कार्य कर रही लक्ष्मी इंजीनियरिंग के कार्य के दौरान तोड़ा गया, जिसे बाद में फिर से बनाया गया। इस पर लक्ष्मी इंजीनियरिंग द्वारा 8 अगस्त को प्रतिभूति राशि के रूप में 1,43,666 रुपये जमा कराए गए। लेकिन सवाल यह उठता है कि पिछले कई वर्षों से बिना अनुमति के सड़क और नालियों को तोड़ा जा रहा था, पर अब तक उनसे कोई क्षति राशि क्यों नहीं वसूली गई?
दो बार जारी हुआ कार्य आदेश
मनोज पंडित ने बताया कि भाजपा के जिला महामंत्री को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से नपा सारणी में पदस्थ समय पाल महेश त्रिवेदी ने एक ही तकनीकी स्वीकृति पर दो कार्य आदेश जारी करवाए। इसके अलावा, उप यंत्री रविंद्र वराठे, जो वार्ड 01 से 18 तक के प्रभारी हैं, ने दूसरी बार इस विवादित फाइल को तैयार किया, जबकि पहले से ही उप यंत्री नितीन मीना और श्याम कुमार धर्मे द्वारा संबंधित कार्य का बिल बना चुका था और उसका भुगतान भी हो चुका था। जब यह मामला उजागर हुआ, तो नपा सारणी में हड़कंप मच गया और मामले को दबाने के प्रयास शुरू हो गए।
प्रशासनिक अधिकारियों का बचाव
मामला खुलने के बाद नपा सारणी का प्रशासनिक अमला एक नई थ्योरी के साथ सामने आया और खुद को पाक साफ बताने लगा। वहीं, राजस्व निरीक्षक हितेश शाक्य ने कहा कि लक्ष्मी इंजीनियरिंग द्वारा जमा की गई राशि के बारे में उन्हें जानकारी नहीं है। इस मामले में मनोज पंडित ने मुख्य नगर पालिका अधिकारी और जिला कलेक्टर को शिकायत पत्र भेजा है, और उन्होंने लोकायुक्त के समक्ष भी मामले की जांच की मांग की है। उन्होंने कहा कि सोमवार या मंगलवार को वे प्रत्यक्ष रूप से लोकायुक्त के समक्ष उपस्थित होकर शिकायत दर्ज कराएंगे।
भाजपा नेता के दबाव में प्रशासनिक अमला
मनोज पंडित का आरोप है कि भाजपा के जिला महामंत्री के दबाव में आकर नगर पालिका का प्रशासनिक अमला विधि विपरीत कार्य कर रहा है। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता को लाभ पहुंचाने के लिए प्रशासनिक अधिकारियों ने जानबूझकर फाइलों में छेड़छाड़ की और गलत तरीके से दो बार भुगतान किया गया।
इस पूरे मामले ने नगर पालिका परिषद सारणी की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। कांग्रेस नेता मनोज पंडित द्वारा लगाए गए आरोपों से न केवल भाजपा बल्कि प्रशासनिक अधिकारियों पर भी संदेह की स्थिति बन गई है।
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